BNS Section 84 in Hindi: भारतीय न्यायिक संहिता (बीएनएस) की धारा 84 के अनुसार, यदि आपराधिक इरादे से किसी विवाहित महिला को बहला-फुसलाकर उसके पति से दूर ले जाना या हिरासत में रखना दंडनीय अपराध है।तो चलिए जानते हैं ऐसा करने पर कितने साल की सजा का प्रावधान है और बीएनएस में व्यभिचार के बारे में क्या कहा गया है।
Also Read: क्या कहती है BNS की धारा 82,जानें महत्वपूर्ण बातें
धारा 84 क्या कहती है? BNS Section 84 in Hindi
भारतीय न्यायिक संहिता बीएनएस (BNS) की धारा 84 विवाहित महिलाओं से संबंधित अपराधों को परिभाषित करता है। जैसे यह धारा उस व्यक्ति को दंडित करती है जो आपराधिक इरादे से किसी विवाहित महिला को बहकाता है, ले जाता है या हिरासत में लेता है, उसे उसके पति से दूर ले जाता है या बहकाने के इरादे से उसे रखता है।
बीएनएस (BNS) धारा 84 की महत्वपूर्ण बाते
- यह धारा महिलाओं को उनके वैवाहिक संबंधों में सुरक्षा प्रदान करती है।
- यह धारा उन लोगों को दंडित करती है जो किसी महिला के वैवाहिक जीवन में हस्तक्षेप करने की कोशिश करते हैं।
- यह धारा आपराधिक इरादे से विवाहित महिलाओं को बहला-फुसलाकर ले जाने या उनसे दूर ले जाने से संबंधित है।
- बीएनएस में, आपराधिक इरादे से विवाहित महिला को बहला-फुसलाकर उसके पति से दूर ले जाना या हिरासत में लेना दंडनीय अपराध है।
बीएनएस धारा 84 के उदाहरण
- कोई व्यक्ति किसी विवाहित महिला को झूठे वादे करके या लालच देकर उसके पति से दूर ले जाता है और उसके साथ अवैध संबंध बनाता है।
- कोई व्यक्ति किसी विवाहित महिला को लालच देकर ले जाता है और उसे किसी गुप्त स्थान पर छिपा देता है।
- कोई व्यक्ति किसी विवाहित महिला को जबरन अपने घर में कैद कर लेता है और उसे उसके पति से मिलने नहीं देता।
- कोई व्यक्ति किसी विवाहित महिला को ब्लैकमेल करता है और उसे उसके पति को छोड़ने के लिए मजबूर करता है।
- कोई व्यक्ति किसी विवाहित महिला को लालच देकर उसके पति से दूर ले जाता है और उसे वेश्यावृत्ति के लिए मजबूर करता है।
आपको बता दें, यह धारा केवल विवाहित महिलाओं पर लागू होती है। केवल उन मामलों पर लागू होती है जहां व्यक्ति का इरादा आपराधिक है। इसके अलवा यह धारा उन मामलों पर लागू नहीं होती है जहां महिला अपनी मर्जी से अपने पति को छोड़ देती है।
जानिए बीएनएस धारा 84 सजा का प्रावधान
भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) की धारा 84 के तहत सजा इस प्रकार है कि दोषी पाए जाने पर व्यक्ति को दो साल तक की कैद या जुर्माना या दोनों से दंडित किया जा सकता है।